गार्गी गोपाल कुंडु ने बदला लेने के लिए पीड़ित महिला महिला को पीटा के केस में फसाया।। कनिगा सुबीर गोल्डर।।

गार्गी गोपाल कुंडु ने बदला लेने के लिए पीड़ित महिला महिला को पीटा के केस में फसाया।। कनिगा सुबीर गोल्डर।।

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मुंबई:- गोरेगांव पश्चिम बांगुरनगर पुलिस स्टेशन की हद में एक ऐसा मामला सामने आया है, जहां पर पीड़ित महिला कनिगा सुबीर गोल्डर के ऊपर फर्जी पीटा का केस दर्ज किया गया। जिसमें महिला को कुंटन खाना चलाने के मामले में गिरफ्तार किया गया। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार किसी भी महिला को रात को 6 बजे के बाद गिरफ्तार नही किया जा सकता, लेकिन पीड़ित महिला का कहना है कि 6 बजे के बाद पूरी रात उसे बांगुरनगर पुलिस स्टेशन में बैठाकर रखा गया। साथ ही मेरे मोबाइल से किसी ने चैट किया है या क्या हुआ मुझे नही पता, लेकिन मेरे घर में घटना वाले दिन में एक साथ 10 से 12 लोग घुसे और मेरे घर रहने वाले 3 पेइंग गेस्ट को पुलिस बनकर जबरदस्ती दबाव बनाकर उनसे कहा गया कि आप ऐसा कहो कि कनिगा सुबीर गोल्डर कुंटल खाना चलाती है। इस तरह का जवाब देने के बाद तीनो पेइंग गेस्ट को रेस्क्यू किया गया। पीड़ित महिला कनिगा सुबीर गोल्डर 3 महीने तक जेल में रहने के बाद जब बाहर आई तो उन्होंने घटना वाले दिन के बांगुरनगर पुलिस स्टेशन के सभी अधिकारियों पर कानूनी कार्यवाही करने के लिए लिखित पत्र दिया और अपने आप को बेगुनाह बताते हुए जो भी लोग इस केस में शामिल है उनके ऊपर जांच करने का मांग की।

आरोपी:- गार्गी गोपाल कुंडू

उनका कहना है कि मेरे घर पर पेइंग गेस्ट में रहने वाली आरोपी गार्गी गोपाल कुंडू ने 10/10/2023 को 7 लाख के गहने और नगद की चोरी की थी। जिसका पीड़ित महिला ने बांगुरनगर पुलिस में गार्गी गोपाल कुंडू के खिलाफ चोरी (380) का मामला दर्ज कराया था। जिसका बदला लेने के लिए गार्गी गोपाल कुंडू और उसके दोस्त अमित जलान ने प्लान बनाकर हमे फसाया और पैसे की उगाही करने की कोशिश की और बदनाम करने की धमकी दी। पीड़ित महिला ने जेल से बाहर आने के बाद जब बांगुरनागर पुलिस स्टेशन में शिकायत की गार्गी गोपाल कुंडू को अरेस्ट क्यो नही किया गया। जिसके पुलिस ने खानापूर्ति करते हुवे गार्गी गोपाल कुंडु को अरेस्ट किया। पीड़ित महिला ने अमित जलान के खिलाफ खंडनी का मामला दर्ज करने के लिखित शिकायत दी है। लेकिन अभी तक कोई कार्यवाही नही हुई है।

मोहम्मद इद्रीस जावेद ( एडवोकेट हाई कोर्ट )

पीड़ित महिला परप्रांतीय होने के नाते जिनको मराठी भाषा समझ में नहीं आती और उनकी भाषा बंगाली होने की वजह से उनके ऊपर जब FIR दर्ज किया गया तो इसकी जानकारी मराठी में देने की वजह से उन्हें कुछ समझ नही आया। उनसे जबरदस्ती साइन ले लिया गया। उनका कहना है इस मामले में मुझे कुछ नही बताया गया। घटना वाले दिन 10 से 12 लोग घर मे घुसे मराठी में बाते की 1 घंटे बाद मुझे पुलिस स्टेशन ले गए पूरी रात पुलिस स्टेशन में रखा गया। फिर सुबह कोर्ट ले जाया गया। तब मुझे केस के बारे में जानकारी मिली। मैं बेगुनाह हु, मुझे जबरदस्ती फसाया गया। उस केस में जो भी अधिकारी सम्मिलित है। उनके ऊपर कानूनी कार्यवाही होनी चाहिए।

कनिगा सुबीर गोल्डर ( फरियादी )

इस मामले में बांगुरनगर पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक प्रमोद तावडे से बातचीत की तो उनका कहना है कि महिला कुंटल खाना चलती थी, पूरी जांच पड़ताल के बाद पुलिस द्वारा रेड कर केस दर्ज किया गया। जिसका चार्जशीट भी कोर्ट में फाइल कर दिया गया है। मामला कोर्ट के आधीन है। महिला ने जो भी आरोप लगाया है वह बेबुनियाद है।

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